5 Simple Techniques For bhoot ki kahani

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इस घर को यदि आप ध्यान से देखें तो आपको मिलेगा कि आज ये विशाल घर एक खंडहर में तबदील हो गया है, जिसके आस पास घने पेड़ों और झाड़ियां के अलावा छोटे मोटे जीव जंतुओं ने अपना डेरा जमा लिया है। इस घर की पार्किंग में आपको एक पुरानी कार दिखेगी जो इस घर से ज्यादा डरावनी है कहते हैं कि उस घर कि मालकिन की आत्मा आज भी इस कार में वास करती है। इस हॉन्टेड हाउस के पास रह रहे लोगों कि मानें तो इस घर में इलाके कि दो प्रभावशाली महिलाऐं डलसी और वेरा वाज़ रहती थी। साथ ही ये भी बताया जाता है कि चूंकि ये घर शहर के बीचों बीच और पॉश जगह पर था तो लैंड माफियाओं कि नज़र भी इस घर पर थी और उनलोगों ने अपनी तरफ से हर संभव कोशिश करी कि वेरा वाज़ उस घर को बेच दें लेकिन उन्होंने नहीं बेचा।

मैं हँसने लगा कि यह तो झूठी कहानी है। अगर वो लड़का लौटा ही नहीं तो लोगों को किसने बताया कि वह आवाज़ उसके पिता की थी।

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   मुझे आश्चर्य ,डर दोनों हुवा। मैंने मैन डोर ठीक से बंद की थी। कौन अंदर घुसा?! बैडरूम से कौन आ सकता है। वहाँ की किडकी से तो कोई इंसान घुस नहीं सकता तो यह कौन है?! बहुत डर लगा!! लेकिन उठने की हालत नहीं थी। सही होता तो देखता कौन है। मजबूरी में वहीं पड़ा रहा और बंद आंखों से सब सुनता गया। वह कदम मेरे पास से गुज़र कर रसोई की तरफ गए और रसोई का दरवाजा आवाज़ करते हुए खुली। फिर रसोई में बर्तनों के आवाज़!

वो बोला मजाक मत करो। तुम्हें क्या लगता है? मैं डर जाऊंगा। मुझे पता है कि तुम मुझे डराने का प्रयास कर रहे हो। पर मैं नहीं डरने वाला। इतना कहकर वो टीवी देखने चला गया।

"Karan Johar on Bhoot as title for Vicky Kaushal movie: RGV gave the title to me in 2 seconds". India Currently. one February 2020 – by means of Press Have faith in of India. Bhoot was the proper title for this film but we didn't have it. I believed at greatest, I'd listen to a no from him (Varma) but allow me to connect with him. And I used to be just blown by his generosity. I called him and I spoke to him and he was like, 'Yeah, choose it and regardless of what paperwork you may need, just allow me to know'.

असली भूत की कहानी-३ । मौत, फांसी, कत्‍ल, हादसे किसी भी शानदार से शानदार जगह को विरान बना देते हैं। जैसा कि आपको पूर्व के लेख में बता दिया गया था, कि हम रूहों और आत्‍माओं के लिए कोई एक जगह निश्‍चीत नहीं कर सकते। लेकिन वो अदृश्‍य और स्‍वतंत्र हैं वो चाहे जहां भी अपना बसेरा कर सकती हैं। लेकिन ज्‍यादातर मामलों में रूहें और आत्‍माएं हादसों की जगहों या अपनी मौत के कारणों के स्‍थान पर ही भटकती रहती हैं।

रात का समय था। बस ने मुझे गाँव के बाहर उतारा था क्योंकि सड़क गाँव से बाहर की ओर थी और मेरा घर गाँव के काफी अन्दर था। पर इससे मुझे कोई फ़र्क नहीं पड़ता क्योंकि पहले भी मैं बहुत-सी बार सफ़र कर चुका हूँ। पर इस बार मैं काफ़ी देर रात गाँव में पहुँचा था। मैंने अपना सामान उतारा और उसे उठा कर अपने घर की तरफ बढ़ा। उस समय रात के लगभग साढ़े बारह बजे थे।

बचपन में अगर मई bhoot ki kahani सुन लेता था तो डर के मारे दो तीन दिन तक अकेले रात को घर से बाहर नहीं निकलता था। और जब भी मई कोई सरारत करता था तो मम्मी मुझे भुत की कहानी सुनाने का डर दिखती थी ताकि मई सरारत करना बंद कर दू। इसी तरह आजकल के बच्चों को काबू करने के लिए horror tales for teenagers in hindi सुनाना चाहिए। इस लेख में हमने बहोत सारि horror stories in hindi या ghost here story for teenagers का बर्णन किया है, जिसे पढ़कर आपको मजा आएगा। और आप इसे अपने बच्चों को सुनाकर उसे काबू कर सकते है। तो निचे दिए गए Bhooto Ki Kahaniya पड़ना आरम्भ कीजिये।

आज इस लेख में हम पढ़ेंगे बच्चों के लिए उपयुक्त भूतों की कहानियां जिसमे आपको बहुत मजा आएगा। यह भूत की कहानी डरावनी नहीं बल्कि साहस से भरी है। 

सोनू : अब मैं समझा.! इस कुएं में कोई भी भूत नहीं है.

गाँव के लोग बताते है कि उस लड़के को अपने पिता के जंगल में बुलाने की आवाज़ आई थी और वो उनकी आवाज के पीछे-पीछे उस जंगल में चला गया और फिर कभी किसी ने उसे नहीं देखा।

आप सभी ने बचपन में भूतिया कहानियां , भूत वाली कहानी जरूर सुनी है। हम अपने दादा-दादी नाना-नानी को कहते थे की हमे भूत वाली कहानी सुनाओ। बचपन की वो भूत वाली कहानी, भूतिया कहानियां बहुत डरावनी तो होती थी लेकिन रोमांच से भरी भी होती थी। 

सत्य और ईमान के रास्ते पर चलने वाली ईमानदारी की कहानी

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